संवाददाता कौस्तुम केशरी “लकी”
चंदौली (उत्तर प्रदेश)। जिले में बुधवार की रात को एक घटना ने माहौल गरमा दिया, जब पुलिस थानाध्यक्ष द्वारा दुर्गा पूजा समिति के अध्यक्ष पंकज जयसवाल और अन्य पदाधिकारियों के साथ अपमानजनक और अभद्र व्यवहार किया गया। इससे आहत होकर दुर्गा पूजा समिति के पदाधिकारियों ने नौगढ़ आए एसपी चंदौली आदित्य लांग्हे का काफिले का घेराव करके उनको रोककर उनसे मुलाकात कर नाराजगी जताई और इस वर्ष दुर्गा पूजा न करने का निर्णय लिया है।
इस घटना के बाद दुर्गा पूजा समिति के अध्यक्ष पंकज जयसवाल समेत अन्य पदाधिकारियों ने एसपी चंदौली आदित्य लांग्घे से मिलकर थानाध्यक्ष के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। उन्होंने आरोप लगाया कि थानाध्यक्ष कृपेन्दर प्रताप सिंह ने समिति के साथ असम्मानजनक व्यवहार किया जो न केवल समिति के सदस्यों की गरिमा को ठेस पहुंचाता है, बल्कि पूरे समुदाय के उत्सव को प्रभावित करता है।
जब एसपी को मामले की गंभीरता समझ आई तो उसी समझ के बाद एसपी ने सीओ कृष्ण मुरारी शर्मा को जांच का जिम्मा सौंपा और तुरंत कार्रवाई के निर्देश दिए
लेकिन नाराज पदाधिकारियों ने स्पष्ट कर दिया कि यदि जल्द ही उचित कार्रवाई नहीं की गई, तो इस वर्ष दुर्गा पूजा का आयोजन स्थगित कर दिया जाएगा।
घटना के बाद एसपी द्वारा बुलाई गई पीस कमेटी की बैठक में भी विवाद की स्थिति बनी रही। व्यापार मंडल और दुर्गा पूजा समिति के पदाधिकारियों ने बैठक का बहिष्कार कर दिया। उनका कहना था कि जब तक थानाध्यक्ष के खिलाफ कार्रवाई नहीं होती, तब तक वे किसी भी प्रकार की बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे। घटना के बाद एसपी द्वारा बुलाई गई पीस कमेटी की बैठक में भी विवाद की स्थिति बनी रही। व्यापार मंडल और दुर्गा पूजा समिति के पदाधिकारियों ने बैठक का बहिष्कार कर दिया। उनका कहना था कि जब तक थानाध्यक्ष के खिलाफ कार्रवाई नहीं होती, तब तक वे किसी भी प्रकार की बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे। इस बहिष्कार से यह स्पष्ट हो गया कि मामला गंभीर हो चुका है और इसे लेकर समाज में आक्रोश बढ़ता जा रहा है।
एसपी चंदौली से शिकायत करने पहुंचे प्रमुख लोगों में दुर्गा पूजा समिति के व्यापार मंडल के प्रदेश संगठनमंत्री अशोक गुप्ता, दुर्गा पूजा समिति अध्यक्ष पंकज जयसवाल, व्यापार मंडल अध्यक्ष सूरज केशरी, क्षेत्र पंचायत सदस्य अनिल शर्मा, अजीत विश्वकर्मा, सुनील शर्मा, सोनू जायसवाल, कृष्णकांत केशरी, जिलाजीत सिंह यादव, अजीत अग्रहरि समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद थे। सभी ने एक स्वर में थानाध्यक्ष के व्यवहार की निंदा की और इसे अस्वीकार्य बताया।
एसपी चंदौली ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश दे दिए हैं, लेकिन स्थिति अब भी तनावपूर्ण बनी हुई है। दुर्गा पूजा समिति और व्यापार मंडल का कहना है कि यदि थानाध्यक्ष के खिलाफ उचित कार्रवाई नहीं होती, तो इस वर्ष दुर्गा पूजा का आयोजन नहीं किया जाएगा, जिससे स्थानीय स्तर पर सामाजिक और धार्मिक तनाव बढ़ने की संभावना है।
सामुदायिक भावना को ठेस
दुर्गा पूजा जैसे महत्वपूर्ण धार्मिक आयोजन को रोकने की धमकी से यह साफ हो गया है कि मामला सिर्फ समिति और पुलिस के बीच का नहीं है, बल्कि समुदाय की भावनाओं से भी जुड़ा हुआ है। अब यह देखना बाकी है कि पुलिस प्रशासन इस मामले को कैसे संभालता है और क्षेत्र में शांति और सौहार्द्र को कैसे बनाए रखता है।