एक बीएलओ को तीन हजार मतदाताओ के पुनरीक्षण का कार्य दिया जाय:जिला निर्वाचन अधिकारी

👇खबर सुनने के लिए प्ले बटन दबाएं

अमित मिश्रा

सोनभद्र(उत्तर प्रदेश)। मतदाता सूची के पुनरीक्षण के लिए बीएलओ तथा पर्यवेक्षको की नियुक्ति के सम्बन्ध में अधिकारियों के साथ की गयी बैठक में जिला निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि बीएलओ तथा पर्यवेक्षक की नियुक्ति सहायक निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण अधिकारी द्वारा किया जाएगा।

 बैठक के दौरान जिला निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि कार्मिको की नियुक्ति के लिए उप जिलाधिकारीगण को आईडी तथा पासवर्ड पूर्व में ही आवंटित किये जा चुके है। नियुक्ति सम्बन्धित कार्यवाही 18 अगस्त तक घर-घर जाकर गणना एवं सर्वे का कार्य 19 अगस्त से 29 सितम्बर तक आॅनलाईन आवेदन 19 अगस्त से 22 सितम्बर तक, प्राप्त आवेदनों की जाॅच 23 सितम्बर से 29 सितम्बर तक, संशोधन एवं विलोपन की कार्यवाही 30 सितम्बर से 06 अक्टूबर तक, अननन्तिम मतदाता सूची का प्रकाशन 05 दिसम्बर को किया जाना निर्धिारित है।

वृहद पुनरीक्षण कार्य के लिए बीएलओ के रूप में कर्मियों को नियुक्त किया जा सकता हैं, लेखपाल, जूनियर बेसिक स्कूलों के अध्यापक, शिक्षा मित्र, अन्य राजकीय कर्मचारी, उप्र सरकार के नियन्त्रणाधीन सार्वजनिक उपक्रमों,निगमों,निकायों के उपयुक्त कर्मचारी, अन्य ग्राम स्तरीय कार्मिक जिन्हें उपयुक्त समझा जाए, यथासम्भव भारत निर्वाचन आयोग के द्वारा कराये गए पुनरीक्षण कार्य में लगे बीएलओ को ही पंचायत के पुनरीक्षण कार्य हेतु लगाया जाए।

एक बीएलओ को अधिकतम 3000 मतदाताओं के पुनरीक्षण का कार्य आवंटित किया जाए, एक मतदान केन्द्र पर यथासम्भव 01 बीएलओ की नियुक्ति की जाए, परन्तु उस मतदान केन्द्र पर 3000 से अधिक मतदाता न हो। एक मतदान केन्द्र पर 3000 से अधिक मतदाता होने पर 01 से अधिक बीएलओ की नियुक्ति की जाए एवं सभी नियुक्त किए जाने वाले बीएलओ को यथा सम्भव बराबर-बराबर मतदान स्थल आवंटित किए जाएं। किसी भी दशा में 01 बीएलओ को 01 से अधिक मतदान केन्द्र आवंटित न किया जाए, भले ही उस मतदान केन्द्र पर मतदाताओं की संख्या मानक से कम ही हो, ताकि दावा आपत्ति प्राप्त करने हेतु बीएलओ मतदान केन्द्र पर उपस्थित रह सके।

यह ध्यान रखा जाय कि अपरिहार्य परिस्थितियों को छोड़कर किसी बी0एल0ओ0 को मतदाताओं की संख्या इस प्रकार आवंटित की जाए कि कोई वार्ड/मतदान स्थल टूटकर दो बी0एल0ओ0 के मध्य न बॅट जाए। बी0एल0ओ0 के कार्य का पर्यवेक्षण करने हेतु कर्मियों को पर्यवेक्षक के रूप में नियुक्त किया जा सकता है, जिसमें राजस्व निरीक्षक, सहायक विकास अधिकारी, कृषि निरीक्षक, सीनियर बेसिक स्कूलों के अध्यापक, जनपद में उपलब्ध अन्य पर्यवेक्षक स्तर के कार्मिक होंगें, यह कार्मिक राजकीय कर्मचारी तथा उ0प्र0 सरकार के नियंत्रणाधीन सार्वजनिक उपक्रम/निगम /निकाय आदि के हो सकते हैं। प्रत्येक न्याय पंचायत स्तर पर 01 पर्यवेक्षक नियुक्त किया जाएगा, यदि काई न्याय पंचायत अधिक बड़ी है और उसमें मतदान स्थलों की संख्या 20 से अधिक है तो उस न्याय पंचायत में अधिकतम 20 से मतदान स्थलों तक 01 पर्यवेक्षक एवं 20 अधिक मतदान स्थल होने की स्थिति में 01 से अधिक पर्यवेक्षक नियुक्त किए जा सकते हैं।

ऐसी स्थिति में उनके कार्य क्षेत्र का विभाजन इस प्रकार किया जाए कि प्रत्येक पर्यवेक्षक को बराबर-बराबर मतदान स्थल आवंटित हो। पर्यवेक्षक को कार्य आवंटित करते समय यह ध्यान रखा जाए कि एक मतदान केन्द्र एक पर्यवेक्षक को ही आवंटित हो, अर्थात् किसी भी स्थिति में एक मतदान केन्द्र को दो पर्यवेक्षकों को आवंटित न किया जाए।

निर्वाचक नामावली वृहद पुनरीक्षण के दौरान बीएलओ द्वारा किये जा रहे कार्यो की माॅनिटरिंग हेतु ई-बीएलओ मोबाइल ऐप विकासित किया गया है, जिसको इन्स्टाल किया जा सकता है, साथ ही बीएलओ ड्यूटी आर्डर में भी मोबाइल ऐप का क्यूआर कोड दिया गया है। क्यूआर कोड को स्कैन करके भी मोबाइल ऐप इन्स्टाल किया जा सकता है।

Leave a Comment

1214
वोट करें

भारत की राजधानी क्या है?